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गुरुवार, 15 जनवरी 2009

दिल कि बात

दोस्तों,
मुझे उम्मीद नही थी कि दिल की बात टाइटल ही आप सबको इतना पसंद आएगा और आप जानना चाहेंगे दिल की बात ,क्यूंकि बात तो अधूरी ही थी न इसलिए मैंने सोचा दिल की बात की जाए .जो अभी अनकहा है वो अनकहा न रह जाए । मैं कोशिश करती हूँ कहने की मगर कह नही सकती किस हद तक कह पाऊँगी .आपका प्यार इसी तरह मिलता रहेगा मैं उम्मीद करती हूँ। आप सबने टाइटल पर ही इतने कमेन्ट दे दिए कि मैं मजबूर हो गई हूँ कि दिल कि बात कुछ तो कि जाए .आप सबका बहुत बहुत धन्यवाद.

दिल कि बात

काश ! दिल कि बात कहना इतना आसां होता । हर जज़्बात को शब्दों में ढालकर बयां करना इतना आसां नही होता।
कुछ न कुछ कमी रह ही जाती है.हर अहसास को शब्द कहाँ मिलते हैं । कुछ दिल बातें दिल ही दिल में रह जाती हैं । दिल कि बात कहने में शब्द भी खामोश हो जाते हैं.सागर कि गहराई तो फिर भी मापी जा सकती है मगर दिल कि गहराई को कैसे मापें । कौन सा पैमाना खोजें जिससे दिल कि अंतरतम गहराइयों में छुपी दिल कि बात को बाहर ला सकें। दिल कि गहराइयों में छिपे मोती हर किसी को नही मिलते । इन मोतियों का खजाना हमेशा दिल में ही दफ़न रहता है, वहां तक किसी कि भी पैठ नही होती ----------दिल कि भी नही । जिस जगह दिल ख़ुद नही जा पाता , अपने अहसास को ख़ुद नही ढूंढ पाता तो फिर हम दिल कि बात कैसे कर सकते हैं ,कैसे उसे शब्दों में ढालकर कलमबद्ध कर सकते हैं ।
सच दिल कि बातें दिल भी नही जानता तो हम कैसे कहें .

11 टिप्‍पणियां:

shivraj gujar ने कहा…

सही कहा है वंदना जी आपने. दिल की बात, दिल के जज्बात और दिल का अहसास महसूस तो किए जा सकते हैं लेकिन बयां करना बड़ा मुस्किल होता है. कई बार बयां करना चाहते हैं तो उचित शब्द ही नही मिलते. फिर भी कोशिस करने वालों की हार नही होती. हम जानते हैं आप जरूर दिल की बात बयाँ करेंगी. यही उम्मीद है.

Renu Sharma ने कहा…

vandana ji !1
dil ki baat hi to hum sab kagaj or pain ke sahare bayan karte hain ,
dil ki har baat ko shabdon main piroya ja sakta hai , magar hum samajik bedhiyon se bandhe rahte hain .
koshish ki ja sakti hai .
bahut khoob .
renu ....

Unknown ने कहा…

bahut khoob..

योगेन्द्र मौदगिल ने कहा…

सच दिल कि बातें दिल भी नही जानता तो हम कैसे कहें

Wah.......

समीर सृज़न ने कहा…

बहुत सुन्दर भाव हैं.आपके ब्लॉग पर पहली बार आया हूँ, अच्छा लगा.अगले पोस्ट का इंतजार रहेगा..

Harshvardhan ने कहा…

nice post

Roney ने कहा…

well, I haven't read ur blog but I promise I will soon eat every word and drink ur every expressions that came from ur heart but I don't think I'll get something satisfactory... Well there are very few who impressed me thro their oeuvre except well known writers. I read your Dil Ki Baat,and by the dint of reading it,I can say you must be writing something good. I wish I won't get crap stuff here...All the Best

विजय तिवारी " किसलय " ने कहा…

सच कहा आपने कभी कभी दिल कि बात दिल ही नही जानता वंदना जी.
-विजय

Dr. Tripat Mehta ने कहा…

sach kaha aapne...
hum to kayal ho gaye aapke pyaare vicharo ke..

Baljeet Singh ने कहा…

blog ka nam badal liya apne to? dil ki baat se....Zindagi..
Good yar. BTW Do you remember me vandana?

Baljeet Singh ने कहा…

Apne blog ka nam change kar liya yar....Dil ki bat se...Zindagi??? nice haan.
BTW You remember me or not Vandana?